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फकीरी अनुभव किया विलास जांके आठों ही पहर हुलास fakiri anubhav kiya vilas bhajan

 

फकीरी अनुभव किया विलास,

जांके आठों ही पहर हुलास ।।टेर।।

 

फकड़ होय माया को त्‍यागे,

कौड़ी न राखे पास ।

मन मूरख री तरंग मिटावे,

करे विषयों का नाश ।।1।।

 

सब से मता फकड़ रा न्‍यारा,

नहीं जगत री आश ।

आत्‍म चिन्‍ह अभय पद पाया,

नहीं स्‍वामी नहीं दास ।।2।।

 

वो फकड़ो री गम अगम है,

नहीं कोई सोहं स्‍वांस ।

अजपा सुरत नुरत नहीं पहुंचे,

नहीं कोई सुन्‍न प्रकाश ।।3।।

 

लक्ष्‍मणगिरी गुरू पूरा मिल्‍या,

दिया परवाणा खास ।

मंगलगिरी गुदडियो बोले,

शुद्ध स्‍वरूप में बास ।।4।।

साधु भाई सिमरण की गत न्‍यारी sadhu bhai simaran ki gat nyari bhajan lyrics



मेरे साधु भाई सिमरण की गत न्‍यारी,
करते है सिमरण संत सन्‍यासी,
वाको है बलिहारी ।।टेर।। 

स्‍वांस स्‍वांस में सोहं बोले,
घट अन्‍दर धुन धारी।
मन सुरता लागी रहे उनमें,
आठ पोहर इकसारी ।।1।।

आसण अधर रहत अणी ऊपर,
नगे करत निहारी।
इला पिंगला सहजे पलटी,
सुखमण खुुुली किवाड़ी ।।2।।
 
कुदरत खेल अजब रंग देख्‍या,
झिलमिल जोत जगारी।
अनहद बाजा बाजे गगन घर,
तन की सुध बिसारी ।।3।।

अमृत झरणा झरत सदाई,
सतगरु के दरवारी।
मंगल सूरत दरश दिखाया,
गणपत नत बलिहारी ।।4।।

मनावो साधां गवरी का नन्‍द गणेश manavo sadha gavari ka nand ganesh bhajan lyrics



मनावो साधां गवरी का नन्‍द गणेश ।।टेर।।

साेेहं शब्‍द को सही कर मानो।
ध्‍यान धरो जी हमेश।।1।।

मूल कंवल में बसे गणेशा।
पहर पीताम्‍बर वेश।।2।।

माता तेरी पार्वती है।
पिता वर कहिये महेश।।3।।
 
गणेश धावे सोई फल पावे।
जाय पूंगे उण देश।।4।।

कहत 'मंगलगिरी' सुणो भाई साधो।
भजन करो बाली वेश।।5।।

जल ज‌इयो जिह्वा पापनी राम के नाम बिना रे JAL JAIYO JIVHA PAPNI RAM KE NAAM BINA RE

राम के नाम बिना रे मूरख  राम के नाम बिना रे, जल ज‌इयो जिह्वा पापनी, राम के नाम बिना रे ।।टेर।। क्षत्रिय आन बिना, विप्र ज्ञाण बिना, भोजन मान ...