डस गयो रे कालो बेटा थारे
गाल ने,
छाती भर आवे बेटा,
देखूं थारी लाश ने ।।टेर।।
फूल लेवण ने गयो,
बेटो म्हारो बाग में ।
डस गयो कालो बेरी,
गोरा गोरा गाल ने ।।1।।
जुल्म कियो है बेरी,
इस काले नाग ने ।
लेकर लाश रानी,
शमशान आई रे ।।2।।
अपणा हाथां सू,
राणी चिता सजाई रे ।
इतने में हरिचंद,
रोक दीनी लाश ने ।।3।।
पहले राणी जी थे,कर तो चुकाओ ।
पीछे राणी अपणा,कंवर ने जलाओ ।
कर तो चुका कर राणी,
फूंक देवो लाश ने ।।4।।
कहता है राजा सुणलो थे
राणी,
मैं तो भरू हूं नीच घर
पाणी ।
पैसो नहीं तो राणी,
साड़ी तेरे पास है ।।5।।
आधी साड़ी रो राणी कफन
बणायो,
आधी साड़ी से राणी कर ने
चुकायो ।
कर ने चुकाकर राणी,
फूकण लागी लाश ने ।।6।।
नील गगन से पुष्प जो बरसे,
बेटा बिना मां को हिवड़ो
तरसे ।
कृष्णा दासी राज गावे,
माधो संग गान रे ।।7।।
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